Friday 1 September 2017

उत्तराखण्ड बनाम स्वीटजरलैंड - डॉ राजेंद्र डोभाल महानिदेशक विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद् उत्तराखडं।


हमें याद है कि जून, 2013 में केदारनाथ या कहें तमाम उत्तराखण्ड में दैवीय आपदा आयी थी। उसी दौरान मुझे श्री मोहन मूर्ति जो कि यूरोप में CII के निदेशक थे एवं कोलान, जर्मनी में रहते हैं का एक लेख The Hindu Business line में पढ़ने को मिला जिसमें उन्होने लिखा है कि उत्तराखण्ड, स्वीटजरलैंड नहीं ! दोनो (उत्तराखण्ड एवं स्वीटजरलैंड) की मात्र Topography ही समान नहीं है बल्कि दोनों का आकार करीब-करीब बराबर ही है।

उत्तराखण्ड की जनसंख्या 01 करोड़ से थोड़ा ऊपर है एवं स्वीटजरलैंड की 01 करोड़ के आस-पास है। स्वीटजरलैंड का जनसंख्या घनत्व 190 मानव per sq. Km है जबकि उत्तराखण्ड का 189 मानव per sq. Km है। दोनों जगह प्राकृतिक आपदायें भी आती हैं। यूरोप में 1970 से लेकर 1995 के बीच करीब 150 बड़ी बाढ़े आयी थी लेकिन उससे कोई बड़ी हानि नहीं हुई। कारण यह कि वो अपनी नदियों को Integrated River Basin Management (IRBM) जिसका मुख्य आधार नदी के लिये अधिक जगह (More room for rivers) एवं बाढ़ क्षेत्र में कोई निर्माण कार्य न हो, जिससे नदी का धारा प्रवाह कम हो जाता है। स्वीटजरलैंड अपने यहां बाढ़ की रोकथाम के लिये प्रतिवर्ष 2.5 billion Swiss francs खर्च करता है।
उनके अध्ययन के अनुसार यह भी बात सामने आयी है कि स्वीटजरलैंड का रेल नेटवर्क काफी बड़ा है जो करीब 5063 किलोमीटर है और हर साल 350 मिलियन यात्रियों को सेवा देता है जबकि उत्तराखण्ड में मात्र 345 किलोमीटर रेल नेटवर्क है। स्वीटजरलैंड में कुल बिजली के उत्पादन का 56 प्रतिशत जल विद्युत् एवं 39 प्रतिशत न्यूक्लियर पावर है जो लगभग कार्बन-ऑक्साइड फ्री नेटवर्क है।
होटल उद्योग की बात की जाय तो वर्ष 2011 में स्वीटजरलैंड में 4967 पंजीकृत होटल थे जो लगभग 39 मिलियन रात्रि निवास 01 करोड़ लोगों को सेवायें दे रही है जबकि उत्तराखण्ड में लगभग 02 करोड़ यात्रि आते हैं और यहां करीब 22 पंजीकृत होटल है। बाकी सब अवर्गीकृत श्रेणी जैसे – धर्मशाला, आश्रय, छोटे अतिथि गृह आते हैं।

अगर हवाई सेवाओं की बात करें तो उत्तराखण्ड में 02 मुख्य हवाई अड्डा जौलीग्रांट एवं पंतनगर में हैं जबकि स्वीटजरलैंड में 25 Heliports, 110 transitory helipads, 8 बड़े अन्तर्राष्ट्रीय हवाई अड्डे हैं जहाँ कोई भी आधुनिक जेट उतर सकता है एवं 56 छोटे हवाई अड्डे भी हैं। स्वीटजरलैंड का सार्वजनिक परिवहन दुनिया में सबसे अधिक घनत्व वाला है जिसका आकार 22000 किलोमीटर है एवं वहां लगभग 800 बस मार्ग हैं जो कि स्विस पोस्ट द्वारा संचालित किया जाता है। इसके अलावा 600 funiculars, cable cards, rack railways and chairlifts हैं जो सेकेण्ड की accuracy से चलते हैं।
लेखक ने Jungfrau (स्वीटजरलैंड का सबसे सुन्दर पर्यटक स्थल) की केदारनाथ से तुलना की है जिसमें कहा गया है कि स्वीटजरलैंड में 4000 मीटर से ऊपर ऊँचाई वाले लगभग 24 ग्लेशियर हैं, 3500 मीटर से ऊपर (केदारनाथ के बराबर) लगभग 64 पहाड़ियां, 2000 मीटर से ऊपर लगभग 4000 चोटी हैं। इन सब जगह में पूरी सुरक्षा एवं आसानी से जाया जा सकता है। Jungfrau रेलवे स्टेशन 11332 फीट की ऊँचाई में है जो यूरोप का उच्चतम एवं केदारनाथ की ऊँचाई के बराबर है। यहां 1893 में बर्फीले पहाड़ के अन्दर cog wheel railway tunnel का निर्माण किया गया था जिसे बनाने में 16 साल लगे एवं 105 साल पहले यह जनता को समर्पित हुआ। वर्ष 2012 में मैं स्वीटजरलैंड गया था तो वे लोग इसके100 साल मना रहे थे।

स्वीटजरलैंड मॉर्टिज एवं बर्निना पर्वत श्रंखला है जो केदारनाथ की ऊँचाई के बराबर है। वहां केबिल कार ऑपरेशन को वर्ष 2012 में 50 साल पूरे हो गये थे जबकि केदारनाथ में 14 किलोमीटर की दूरी गौरीकुण्ड से घोड़े, खच्चर, पालकी एवं पैदल पूरी की जाती है।

यह तजुर्बा मैंने आपके समक्ष इसलिये रखा कि हम खुद को स्वीटजरलैंड से तुलना करने से पहले, वहां के बारे में पूरा जान लें।

डॉ राजेंद्र डोभाल
महानिदेशक
विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद्
उत्तराखडं।

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